वेदान्त >> वेदान्त पर स्वामी विवेकानन्द के व्याख्यान

वेदान्त पर स्वामी विवेकानन्द के व्याख्यान

स्वामी विवेकानन्द

प्रकाशक : भारतीय साहित्य संग्रह प्रकाशित वर्ष : 2020
पृष्ठ :602
मुखपृष्ठ : ई-पुस्तक
पुस्तक क्रमांक : 7
आईएसबीएन :1234567890

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स्वामी जी द्वारा अमेरिका और ब्रिटेन में वेदान्त पर दिये गये व्याख्यान

हम ऐसा कह सकते हैं कि कीट से लेकर मनुष्य तक जितने स्वरूप दीख पड़ते हैं, सभी ‘शिकागो हिंडोले' के डिब्बों की तरह हैं जो हमेशा घूमता रहता है, पर उसके डिब्बों में बैठनेवाले बदलते रहते हैं। कोई मनुष्य किसी डिब्बे में घुसता है, हिंडोले के साथ घूमता है और फिर बाहर निकल आता है। किन्तु हिंडोला घूमता ही रहता है। इसी प्रकार कोई जीव किसी शरीर में प्रवेश करता है, उसमें कुछ समय के लिए निवास करता है, फिर उसे छोड़कर दूसरे शरीर को धारण करता है और उसे भी छोड़कर फिर अन्य शरीर में प्रवेश कर जाता है। यह चक्र तब तक चलता रहता है, जब तक जीव इस चक्र से बाहर आकर मुक्त नहीं हो जाता।

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